घर-घर गया पर अब कहीं हैवानियत न रही
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घर-घर गया पर अब कहीं हैवानियत न रही
इंसान ख़ुश हैं क्योंकि अब इंसानियत न रही
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घर-घर गया पर अब कहीं हैवानियत न रही
इंसान ख़ुश हैं क्योंकि अब इंसानियत न रही
Ghar-ghar gaya par ab kaheen haivaaniyat na rahee,
Insaan khush hain kyonki ab insaaniyat na rahee !!
Today's Quote
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